“समाज का आईना होता है टीचर, मार्गदर्शक बन दिखाता है छात्रों को नई राह” : मनीष सिसोदिया

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नेशनल ह्यूमन वेलफेयर काउंसिल की ओर से रविवार को दिल्ली के प्रेस क्लब के कैंपस में “इंडियाज ग्रेट लीडर्स फेस्टिवल 2018” का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में शिक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान देने वाले सरकारी स्कूल के शिक्षकों ने भाग लिया। इस अवसर पर दिल्ली के मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि समाज और राष्ट्र के भविष्य के निर्माण में शिक्षकों का बेहतर योगदान है। शिक्षक ही समाज का आईना होता है। देश और राष्ट्र के बेहतर भविष्य की नींव टीचर ही रखते हैं। कार्यक्रम में स्वस्थ समाज के महत्व पर भी चर्चा की गई। फेस्टिवल में टॉक समिट का आयोजन किया गया। शिक्षा के क्षेत्र में बेहतरीन योगदान के लिए डॉ. संजीव शर्मा और समाजसेवा के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए छत्तीसगढ़ के कोरबा निवासी विशाल केलकर को सम्मानित किया गया। इसके अलावा अपने-अपने क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान देने वाली हस्तियों को “इंडियाज ग्रेट लीडर अवॉर्ड” से सम्मानित किया गया।

 दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा, “माता-पिता बच्चे को जन्म देते हैं। उनका स्थान कोई नहीं ले सकता, उनका कर्ज हम किसी भी रूप में नहीं उतार सकते। शिक्षकों को भी भारतीय संस्कृति में माता-पिता के बराबर दर्जा दिया जाता है, क्योंकि शिक्षक ही हमें समाज में रहने योग्य बनाता है इसलिए ही शिक्षक को ‘समाज का शिल्पकार’ कहा जाता है। आज के समय में सभी लोगों को शिक्षा के क्षेत्र में समान अवसर उपलब्ध कराए जाने चाहिए।“ उन्होने आयोजन संस्था की इस सरहानीय प्रयास के लिए के लिए बेहद तारीफ की। इस अवसर पर दिल्ली के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री योगानंद शास्त्री भी उपस्थित थे।
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री ने बताया, “दिल्ली सरकार शिक्षा के क्षेत्र में सरकारी स्कूल का स्तर ऊपर उठाने के लिए महत्वपूर्ण कार्य कर रही है। दिल्‍ली के आदर्श नगर में प्राइवेट स्कूलों जैसी आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित सरकारी स्‍कूल बनाया जा रहा है। दक्षिणी दिल्‍ली के मदनपुर खादर में दिल्‍ली सरकार ने आधुनिक सुविधाओं से लैस सरकारी स्‍कूल बनाया है। बुराड़ी में दिल्‍ली सरकार ने 12वीं तक के लिए सर्वोदय विद्यालय का निर्माण कार्य कराया है। दिल्‍ली सरकार की ओर से 54 मॉडल स्‍कूल तैयार किए जा चुके हैं। दिल्‍ली सरकार सरकारी स्‍कूलों में न केवल पुस्‍तकालय, बेहतरीन इन्‍फ्रास्‍ट्रक्‍चर और आधुनिक खेल सुविधाएं विकसित की जा रही हैं. बल्कि स्‍कूलों में जिम की भी सुविधा दी गई है।“
शास्त्री ने कहा, “शिक्षक का संबंध केवल छात्र को शिक्षा देने तक ही सीमित नहीं रहता, वह उसे हर मोड़ पर राह दिखाता है। छात्र के मन में उमड़े हर सवाल का जवाब देता है और छात्र को सही सुझाव देता है और जीवन में आगे बढ़ने के लिए सदा प्रेरित करता है।“
 इंडिया ग्रेट लीडर्स फेस्टिवल 2018 में डॉ. संजीव कुमार को शिक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए पुरस्कार से नवाजा गया। डॉ. संजीव कुमार ने कहा, “आधुनिक युग में शिक्षक की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है। शिक्षक छात्रों के लिए मार्गदर्शक और पथ प्रदर्शक होता है,  जो उन्हें केवल किताबी ज्ञान ही नहीं, बल्कि जीवन जीने की कला सिखाता है। आज के समय में शिक्षा का व्यवसायीकरण देश के सामने बड़ी चुनौती हैं। पुराने समय में भारत में शिक्षा कभी व्यवसाय या बिजनेस नहीं थी। इससे मौजूदा समय में छात्रों को काफी कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। शिक्षक ही भारत देश को शिक्षा के व्यवसायीकरण से स्वतंत्र कर सकते हैं। देश के शिक्षक ही देश में शिक्षा जगत को नई बुलंदियों पर ले जा सकते हैं।
पुरस्कार समारोह में समाज सेवा के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान देने वाले छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले के निवासी विशाल केलकर को सम्मानित किया गया। विशाल केलकर शहर में जन संगठन के नाम से एक समाज कल्याण संस्था चलाते आ रहे हैं। शहर की सड़कों और गढ्ढ़ों की मरम्मत वह अपने पैसे से कराते हैं। उनके समूह से 3000 से ज्यादा लोग जुड़े हैं। युवा समाजसेवी और व्यापारी विशाल केलकर ने कोरबा के दर्री क्षेत्र में खुद के खर्चे से स्ट्रीट लाइट लगवाने का निर्णय लिया है। इस संबंध में अनुमति के लिए उन्होंने प्रशासन को लिखित आवेदन दिया है।